आप जैसी महिलाएं ही समाज में बढ़ रहे अपराधों को रोक सकती हैं, आप लोगों की वार्ता सुनकर उम्मीद की एक किरण नजर आई।🙏🙏
@ReetuPradeepVerma16 сағат бұрын
इस वीडियो ने आंखें खोल दीं और दिल छू लिया। दीपिका नारायण भारद्वाज और ऋचा अनिरुद्ध जी का प्रयास सचमुच सराहनीय है। अतुल सुभाष जैसे कई निर्दोष लोगों की कहानी को आवाज देना समाज में जागरूकता फैलाने का एक बड़ा कदम है। हमें ऐसे मुद्दों पर खुलकर चर्चा करनी चाहिए और न्याय की आवाज़ बुलंद करनी चाहिए। धन्यवाद इस सशक्त वीडियो के लिए। 🙏
@mukeshsinha20319 сағат бұрын
# justice for Atul Subhash
@ShivMathur3 сағат бұрын
शुरू में जो कहा कि बेटी पढ़ें और नाम रोशन करे, यह बात ही तों सारी समस्याओं का जड़ हे
@VickyChoudhary-ps5gx2 сағат бұрын
to tu kya chahta hai 50% abadi anpad rahe
@7vs210 сағат бұрын
Thank you so much Richa and Deepika Narayan Bhardwaj for addressing such a serious issue. I think now it's high time that the Indian judiciary must have a law with serious repercussions for those proven, to file false cases and prevent these false cases.
@Hyena2107 сағат бұрын
God bless you my sister Dipika ,, हनुमान जी से प्रार्थना है कि वो तुम्हे डायन और राक्षसों की दुष्ट नजर से हमेशा रक्षा करें ।।।
@arunasharma700414 сағат бұрын
ऋचा दी,दीपिका जी, मैं आप लोगों की तरह किसी बड़े प्लेटफॉर्म पर तो नहीं हूँ,पर एक महिला होने के नाते मैं आप दोनों को हृदय तल की गहराईयों से शुभकामनाएँ देती हूँ कि आपके प्रयास सफ़ल हों और दीपिका जी आपकी आशा बहुत ही जल्दी एक सकारात्मक बदलाव का रूप ले,मैं ईश्वर से प्रार्थना करती रहूँगी।अतुल की आत्महत्या 😢अन्तिम हो,इसके लिए महिलाएँ ही जिम्मेदारी लें, क्योंकि हमारे समाज में बेशक महिलाओं पर बीते लम्बे समय से अत्याचार हुए हैं,पर इसका पूरा-पूरा दोष पुरुष समाज पर थोपकर महिलाएँ मुक्त नहीं हो सकती हैं,अपनी जिम्मेदारी से। मैं तो समाज की सुदृढ़ता और सुघड़ता के लिए जितना महिलाओं को अनिवार्य रूप से जिम्मेदार मानती हूँ, उससे कहीं अधिक समाज में न केवल पसरने वाली, बल्कि स्थापित होती जा रही विकृतियों के लिए ज़िम्मेदार मानती हूँ।हमारा भारतीय समाज,एक सुसंस्कृत, स्वस्थ सामाजिक परम्पराओं का धनी समाज अगर आज इस भयावह स्थिति में पहुँच गया है तो निश्चित रूप से महिलाओं को अपना कर्त्तव्य निभाना होगा और आगे आकर इन विकृतियों से लड़ने और इन्हें समाप्त करने के लिए समाज के प्रारम्भिक रूप यानि कि अपने-अपने परिवारों से शुरूआत करनी होगी। मैं दृढ़ता से ये मानती हूँ कि किसी परिवार में एक माँ अपने दोनों बच्चों, बेटे-बेटियों को यदि बाल्यकाल से ही परिवार और समाज के प्रति स्वस्थ मानसिक भावों के साथ सभी प्रकार के सामाजिक सम्बन्धों को समझने और उनका सम्मान करने की शिक्षा दे तो ये हो ही नहीं सकता कि एक व्यक्ति, विशेष रूप से एक महिला जो कि एक पुरुष(अपने पति)के साथ इस तरह का व्यवहार करले। मैं अधिक तो कुछ कह नहीं सकती,पर अपने लेखन में ये प्रयास अवश्य करूँगी,जो कि मैं करती भी हूँ कि महिला सशक्तिकरण का भौंडा और झूठा रोना रोने की बजाय वास्तविकता को लोग समझें, विशेष रूप से महिलाएँ।
@vivekchouksey5323Сағат бұрын
कुछ नहीं होगा। समाज 70% खराब हो चुका है। होता ही जाएगा। हिंदू आदमियों को इतना नपुंसक नाकारा बना दिया जाएगा कि वे महिलाओं को डिफेंड करने लायक ही नहीं बचेंगे। आर्मी भी कमजोर होगी। हम अब जो गुलाम हुए तो यह अंतिम। गुलामी होगी। क्योंकि उसके बाद हम होंगे ही नहीं।
@sudhaawasthi824113 сағат бұрын
Ab desh ka kanoon dono pakshon ke liye braber hona chahiye sunvai dono ki honi chahiye itna sb sunkr bda dukh hua aap dono ka is vartalap ke liye dhanyawad
@ajivaklok5 сағат бұрын
आप दोनो लोग हमारी गर्व हैं। हमें ऐसी बेटियों पर बहुत गर्व है। आप लोग बेटियों और बेटों को सर्वोत्तम विकास की बात कर रहीं हैं। सभी की उनके अनुसार उन्हें न्याय मिले। यही हम चाहते हैं।
@aakankshu00028 сағат бұрын
Thank you Richa Ji & Deepika Ji’s work is Fabulous since the time I am following.
@bittuwithjeetu35 минут бұрын
Well said mam
@VK-38Сағат бұрын
Thanks didi aap dono ko,humara dard samajhna k liye....A lot of thanks...🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
@JayKumarJ.K-ty4lh13 сағат бұрын
आपने सही कहा Mam आज मे आपको थोड़ा गुस्से मे baat krte देखा मेने
@zdayaramyadavСағат бұрын
काजल की कोठरी में कैसो सयानों जाय। काजल की दाग़ लागि हैं पै लागि हैं । आप दोनों को कैसे धन्यबाद दूँ । आप नारी ही नहीं ।विशुद्ध मातृत्व की मिशाल प्रस्तुत कर रहीं हैँ। धन्यबाद।
@ankitayadav640913 сағат бұрын
आजादी का कोई अंत नहीं हैं, पुरुष हो या महिला दोनों को संयमित रहना होगा। शादी नेचुरल रिलेशन नहीं है,यह एक कॉन्टेक्ट हैं जो दोनों की सहमति से होता है,और इसे धैर्य और संयम से निभाना चाहिए।
@BinaParekh-g4d7 сағат бұрын
Justice for Atul : He was a Righteous person . He deserves Justice
@umeshjuyal539811 сағат бұрын
I am also working in IT Industry, i have watched 1.5 hrs videos full cried. I am strong men because my father's & brother in defence.
@UmeshAswal19612 сағат бұрын
It is very difficult to understand what you want to say. I have even read about some armed soldiers committing suicide.
@AnjuDevi-us1ms2 сағат бұрын
जाग जाइए, माँ और बहनों इसलिए कि यदि अतुल आपका बेटा या आपका भाई होता तो कैसा लगता, मैं भी बेटी, बहन, पत्नी और माँ भी हूँ इस लिए अपने बेटे के लिए चिन्तित हूँ क्यों कि 30 या 35 साल पालने के बाद किसी 2 या 3 सालों से ही (पत्नी) के रूप में आई महिला उसे मरने पर मजबूर कर दें। नियम बनाएं पर किसी को नुकसान न हो ये ज्यादा जरूरी है। बाकी तो महाकाल है सबका हिसाब करने के लिए। 🙏🙏भगवान् करे यदि यही निकिता का भाई मरता तो वो क्या करती 😞😞😞🕉🕉🕉🕉
@dsnagarkoti11 сағат бұрын
Salute you 👏
@anubhavsaxena76597 сағат бұрын
Salute hai aisi anchor jin hone transparently truth ko samne rakha hai 🙏🙏🙏indian justice court totally blind
@rekhasingh482951 минут бұрын
अपने अनुसार अपनी सोच के अनुसार जीने की तमन्ना सभी को होती है लेकिन विवाह के बाद पुरुष और महिलाओं के जो जिम्मेदारी होती है उसे दोनों को मिलकर पूरा करना चाहिए। आज के समय में महिलाओं को पढ़ना या सशक्त होना अच्छी बात है, पढ़ी लिखी होना या सशक्त होने का मतलब कतई नहीं कि किसी पर अत्याचार करना या किसी का अपमान करना। सशक्त का मतलब होता है पुरुष के साथ कंधे से कंधा मिलाकर चलना और सुख दुख में साथ निभाना। शर्म की बात है सुख दुख का सहभागी होने के बजाय हम पुरुष पर अत्याचार करने लगते हैं पुरुष का शोषण करने लगते हैं तो ऐसी शिक्षा और ऐसी कानून व्यवस्था पर शर्म आती है। मैंने देखा है आज के समय में पुरुषों की तुलना में घरेलू हिंसा या अत्याचार या मानसिक शोषण महिला पुरुष पर करती हैं।
@Jitendrasingh-vh9bf6 сағат бұрын
बिल्कुल दीदी बहुत सारे अतुल है
@SarojBairagi-b3l3 сағат бұрын
बहुत सही वोल रही है दीदी आप 👌
@prakashchandra418218 минут бұрын
Great Dipika ji, Narayan bhartdwaj and richa ji all are mahan hai I request you go a head not to stop you are all head in India
@prakashchandra418212 минут бұрын
I salute both madam very great shoul have change in society and court
@amarnath28003 сағат бұрын
You are great dipika ji
@sureshachoudhary5188Минут бұрын
आप जैसी महिलाएं ही समाज को बचा सकते हैं। एसी घटनाओं से मैं भी परिचित हूं
@AlokKumar-wt9nqСағат бұрын
ऋचा अनिरुद्ध जी आपने झूठे मुकदमों से पीड़ित ऐसे लोगों की भी आवाज बनने का प्रयास किये जिसके लिए इंसान के साथ-साथ कानूनी प्रक्रिया भी उतना ही बड़ा दोषी है जो एक इंसान को मरने के लिए प्रेरित करता है। इस घटना ने आपको भी "Zindagi with Live" पर लंबे समय तक विडियो बनाने के लिए मजबूर कर दिया।
@manishmitra4228Сағат бұрын
Salute to Richa ji and Deepika for raising this genuine issue.
@manjutrivedi321944 минут бұрын
अब आप ही ये काला धंधा बंद करा सकते हो आप भी देश की बेटियां हैं कितनी मांओं की कोख उजड़ गई बहिन का साथ उजड़ गया बेटियों अब इसका बंदोबस्त आप ही करो निर्दोष पुरुष बच सके
@gramakirpal10 сағат бұрын
Such a sorry state of affairs in India. Hope the people in power make some important changes in law for a more fair law for men. Thank you Richa and Deepika for an informative session.
@mridulagupta922815 сағат бұрын
Yah पढ़े-लिखे bacchon Ki Duniya Hai 😢😢
@S.C.A.10 минут бұрын
Justice for Atul Subhash!!
@saritapatil831816 сағат бұрын
🙏ऋचाजी अपने सही कहाँ समाज खत्म होने जा रहा है😢
@akhileshwaranandmishra21102 сағат бұрын
मैं भी अतुल सुभाष के रास्ते पर हूं दीदी
@archanasethi214 сағат бұрын
Thanks deepika you are great
@shivasaini438716 сағат бұрын
Same condition mam
@come2me0072 сағат бұрын
Salute to you Deepika Mam!
@krishnasyam1232 минут бұрын
After listening to the interview, I find it deeply troubling that men can be accused of crimes they didn’t commit based solely on unproven claims. Such situations, if allowed to continue, set a dangerous precedent and push society in a perilous direction. Justice must be served for Atul Subhash, and the laws must be reformed to ensure fairness rather than favoring one side. A heartfelt thanks to Deepika ji for standing up and advocating for justice for men.
@pksingh940823 минут бұрын
इन सब के खिलाफ जल्द जाँच शुरू हो बहुत सी सच्चाई सामने आएंगी
@mohansumant59027 минут бұрын
खरंच मीडियाला लाख लाख सलाम
@ShivMathur3 сағат бұрын
Rajasthan मे फलौदी कैस ही सही रास्ता हे पुरूष के लिए
@SanjivKumar-tq1sc53 минут бұрын
Bahut hi badhiya ho
@seemabartwal632415 сағат бұрын
Justice for Atul
@amitathakur-t8z15 сағат бұрын
एक सफर के दौरान एक सेना के अधिकारी ने आपबीती सुनाई थी वह परेशान था की पहाड के गांव में माता पिता देखे या सीमा पर ड्यूटी दे या अदालत और थाने में हाजिरी दे।
@sushilanautiyal905310 сағат бұрын
जब संसद मे ही असभ्यता से पेश आते है ।उनको कोई सजा नही दी जाती।हमारी जनता उनको सहयोग करते है ।उसको रोकने का उपाय बताए
@rekhasingh482930 минут бұрын
सही मायने में जिन महिलाओं पर घरेलू हिंसा या अत्याचार होता है,तो वो सहन करके परिवार में रह जाती है, लेकिन जिस पर अत्याचार नहीं होता है वही कानून का पाठ पढ़ाने लगती है फिर पुरुषों के साथ खेलने लगती पैसा पैसा, पैसा दो नहीं तो जेल में जाओ पैसा लेकर ऐस करने लगती है ऐसा बिजनेस का ट्रेंड चलाने लगती है समाज में।
@pratikkumar60662 сағат бұрын
Thanks Richa for your support indeed greedy and cunning people are present in every gender, we should abstain from gross generalisation against any gender. To all the males out there who go full rampant on mysogyny on all social media, please don't generalise
@ashabharti82912 сағат бұрын
Good morning di🙏🙏
@shailendrakexperiment6 сағат бұрын
हमारे समाज में पुरुषों के साथ अत्याचार हो रहा है कोर्ट में और थानों में भी हो रहा है
@shrutihp45 минут бұрын
Same thing is happening with my friend. From past 8 years her didn’t see his daughter.
@sagarnaagar597414 сағат бұрын
मेरे केस मैं भी ऐसे ही हुआ है 20:11 टू 21:15 बीना किसी सुबूत के fir दर्ज की 😡😡
@Sagi_Rameshwari13 сағат бұрын
सबसे पहले तो मेंटेनेंस बंद किया जाए जो अपने पति और पर ससुराल वालों fake dowry case और बाकी झूठे केस करती है । जब fake case जीत जाए तब उसे मेंटेनेंस दिया जाए उसके पहले एक फोटी कौड़ी नहीं दिया जाए, फिर देखो सब झूठे dowry domestic violence case कैसे अपने आप बंद हो जाएंगे 😢😢
@laxmi79262 сағат бұрын
maintenance nahin band honi chahiye. Agar ye band ho gaya to purush samaj uska kahin adhik fayda uthayenge jin ke liye ye muhim suru hua hai. Tab samj fir se wahi purane samay me laut jayegi jab ladkiyon ko dowry ke liye jala diye jate the. Ye ab bhi ho rahi hai. maintenance band karne ki jagah law me kuchh aur Amendment laya jaye, taki fake dv case karne wali mahilaaon ko convict kiya ja sake
@amrishsharma89342 сағат бұрын
Aa gayi sacchi baat dimag main paisa babbu bhaiya paisa 😅😅@@laxmi7926
@manjutrivedi3219Сағат бұрын
Mahilayen aage badhe itna nhi kisi ki kokh ujaad de
@CYCLISTDESH14 сағат бұрын
It is failure of courts and law.
@mohansumant590245 минут бұрын
मोदी आणि शहा यांनी आता यामध्ये लक्ष घातले पाहिजे काय चालले आहे देश समाज कुठे जाणार आहे ?
@ModernPathshala21216 сағат бұрын
Ma'am kindly invite Acharya Prashant
@bhupali19511 сағат бұрын
It's not gender vs gender, it's not male vs female...it's about the innocent and the culprits..it's about how the greed in human beings are tearing up the society, it's about how evil people are torturing the innocent ones. It's high time that the justice system in our country awakes and works for the needy and not them who warms their pockets. #justiceforAtulji #Justiceforallthevictims May you be at a better place Atul ji.... We pray for you...and my heartfelt condolences to your Mom, Dad and Brother.
@DanishfarhaanKhanСағат бұрын
Atul bhai sahid huye desh ke judiciary ko jagane ke liye or satta wale jo kanoon banate hai ye aane wale sare purusho ko bachane ke liye Atul bhai ne pure system ko jagane ke liye ye kiya ki kal ko koi or Atul naa mare aise. jaago bhart ke yuva .
@manjutrivedi321944 минут бұрын
😢😢😢😢😢
@sushilanautiyal905310 сағат бұрын
हमारे देश मे जस्टिस मिलता ही नही है,,यहां तक कि अगर जज के सामने कत्ल हो जाय क्योकि उनको गवाह चाहिए। समझ नही आता क्या होना चाहिए। सच की कोई कीमत नही
@Prabhat-yb5qs4 минут бұрын
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
@Anandramit2 сағат бұрын
This is Epidemic of Public health in India
@rajkumarrana2313Сағат бұрын
Change the corrupt system of judiciary....money seeking is main problem
@rameshprajapati849615 сағат бұрын
Mam Delhi head chef girl ka pura interview upload kar diiye
@siddhantjain87052 сағат бұрын
Lawyer who advised her to do so should be made culprit as well
@sanjeewaniv31772 сағат бұрын
Now Judiciary is not for justice. So good people must have to understand don't depend upon Judiciary but understand muscle power becomes mighty power. here.
@zdayaramyadavСағат бұрын
मध्य प्रदेश का एक जज़ आजमगढ़ बुढ़न पुर तहसील के s d को फोन करके सरकारी स्कूल के रास्ते को बनने नहीं दे रहा है। हल्का लेख पाल प्रधान दोनों मजबूर हैं ।
@anshujain183636 минут бұрын
Ladke ke Pride aur self respect ko crush kar diya jata hai
@MoniAlly-tr6hs26 минут бұрын
Madam, I would like to talk to miss deepika mam , showing them actual case where wife not filing any case, and getting no justice
@ReenaSharma-v2p9 сағат бұрын
Purush ayog banaiye tabhi ourte sudhrengi please
@Digital.crafters58 минут бұрын
Atul subash amar rahi.Govt take action against her and change 498A&DVACT also aA
@AvdheshSingh-jj6dh7 минут бұрын
Ŕichaand Deepali aap dono ka tahèdil sè dhanybad indrajeet singh chandapùr goñda up
@MoniAlly-tr6hs19 минут бұрын
Police vale and advocates same hi hai even in genuine women case
@SaishVolvoikar14 сағат бұрын
In today's world.. life is full of stress, tension, depression, anxiety and unwanted problems 😞best thing is to be quiet and respect a woman. Richa just wanted to share one thing with you. I work in a government department on a good position where most of my colleagues are women and trust me they are really helpful and nice people. Its my personal experience😊. I maybe wrong... But one thing...a person has to respect a woman and be good to her😊👍 or else he can't survive in this world.
@viveksharma5137Сағат бұрын
हिन्दू रिति रिवाज़
@vegfoodie14676 сағат бұрын
False charges and absence of Time Bound disposal of Divorce petitions in Family courts, few advocates and investigating teams and Most Important High Pressure of Social Organisation working in Favour of Women are to be blamed.
@CommonMan-d4p49 минут бұрын
If he was a Muslim he could have simply say Talaak Talaq Talaq. Unfortunate Hindu should ' fight to survive ' in court. Jai Samvidhan
@aaravchandra980343 минут бұрын
ऋचा जी , कुछ होने से तो रहा, मुश्किल से बीस (20) दिन रूकिए; सब भूल जाएंगे कि कुछ हुआ था और ये ब्लेम तो कोर्ट और सिस्टम पर भी तो लगाया गया है तो इस आवाज को वो लोग तो दबा कर ही रहेंगे । आप और मीडिया वाले भी दो चार आंसु बहा कर चुप हो जाएंगे, लडना तो खुद परिवार वालों को पड़ेगा अगर कोई वकील, अफसर इत्यादि कोई उनकी मदद कर दें तो जैसे निर्भया केस में हुआ था। और हां गौर करने वाली बात! जज साहिबा के विरुद्ध कोई कुछ बोल ही नहीं रहा है!!! Alimony का सिस्टम और एक तरफ पूरी तरह से झुका हुआ कानून जो कि सिर्फ और सिर्फ औरतों की मदद करता है लालच में क्योंकि की कानून सीधा नहीं है बहुत होच पौच है यहां।
@manjutrivedi321923 минут бұрын
बहुत ही अत्याचार होता है पुरुषों के लिए खा नहीं खा कर एक माता पिता बेटे को पाल पोस बड़ा करते हैं एक सपना उनकी आंखों में रहता है बेटा हमारा सहारा बनेगा ,इन डायनों के खातिर क्या मिलता है सिर्फ अशांति, आशू,😢 अच्छी लड़की भी बदनाम हो जाती है ,कहीं भी देखो बिना बात के ,,तुझे पता नहीं है ,,लड़की हूँ मै,,हर जगह,चाहे बस के सफर में चाहे होटल में कहो कहीं भी,मैने यह भी देखा है गरीब ऑटो वाले को भी यही धमकाया जाता है ,तू जनता नहीं मैं महिला हूँ बिल्कुल इसकी तहकीकात होनी चाहिए 😢😢😢😢
@utsavkumar657916 сағат бұрын
Hum mard hai hamare sath aaise hi hota koi nhi hota hai hamare sath ..........
@ujjawlebarnwal2043Сағат бұрын
Court jaane se badhiya hai ki apna faisla khud kar lo
@AbhishekKumar-s1b1e14 сағат бұрын
Mam kindly invite Acharya prashant sir
@FamilyOfKings-y8g13 сағат бұрын
This is brutal, some of the ladies if not taking any legal actions are ruining the families in other ways.. Their insecurities are taking another dirty and dangerous form.😞
@satishmaddheshia15 минут бұрын
Yaha humare system me amendment karne ki jarurt hai..
@mohithviswanathan5132Сағат бұрын
There should be video recording of every family court proceeding and suo motu case on the women and their lawyers if the charges are fake or if they try to take back their case...
@AsifNazir-k3e2 сағат бұрын
Judiciary. Laghar gay samajh kar case khatam hi nhi honedeta hai
@singhmanvendra967835 минут бұрын
Kanoon ko general neutral hona chahie
@anshujain183644 минут бұрын
Yah Sach Hai hamen chup kara diya jata hai hamari baton ka Vishwas nahin kara jata
@ruchityagi515711 сағат бұрын
Itna sab kuch ho chuka hai injustice k naam per bas ab aage na ho kuch aise amendments ho jaaye ki Kisi ko bhi nyay ki bheekh na mangni pade..Poora conversation bahut hi mahatvapoorna tha.. Deepika ji ne jis tarah k cases bataye pata to tha but log us Hadd tak vikrit hai sun k hairani hui..ek aur baat boli unhone ki Richa ma'am ki following bahut hai..aur jaise maine bhi likha tha ki aap jaise sashakt log agar awaaz uthayenge to sahi darwaze tak sunai degi..Bas umeed ye hai ki Atul ji ka suicide vyarth na jaaye..jaise Sushant k suicide ne ek bahut bada badlav laya usi tarah yaha bhi changes dekhne ko mile jald hi🙏
@rmcottonheaven14 сағат бұрын
Muje nhi lgta di kuch bdlega sb bika h
@sameerj532Сағат бұрын
My wife put false 498a case i lost my job i was jobless for 4 years later came to know she was having an affair with a boy before my marriage and she was still dating when i was married my wife lawyer also came to know abt my wife she was still having boyfriend and was cheating on me. Thats where i won the case but it took me 4 years with no Job i was struggling for money as i was the only earner in my house. NOW I AM FREE AND I NEVER MARRIED AGAIN.
@VijayKumar-nc6zq6 сағат бұрын
Mamm where is law commissione
@vegfoodie14676 сағат бұрын
No political party in any of the elections has raised concers of the husbands and family members.
@mamtaminocha505215 сағат бұрын
Bahut hi dhukhad hai ,samaj kahan ja raha hai😢
@sarojjoon21132 минут бұрын
मनोज का केश आप गलत बता रही है मैं दोनों पक्ष को अच्छी तरह जानती हूँ उसकी पत्नी बहुत ही अच्छी लड़की है
@hridayanandyadav75492 сағат бұрын
Good works 🎉😂😂
@tarunkumar445612 сағат бұрын
Laws in India are gender biased. Laws should be made for justice for all gender not to benifit a particular gender 😢
@sumankalbag587711 секунд бұрын
My thoughts. In Bharat, many men and their parents will be observing the response of our legal system to The Atul Subhash Modi case. The Law Makers and The Legal System has so far, been unmindful of similar cases hitherto. Some male victims of the gender biased laws in matrimonial cases have lived, but rotten lives, feeding their oppressors with their hard earned money. See, this must have been the main reason that made dear Atul Subhash Modi, to choose to end his life. Law Makers, wake up, be sensitive to this issue and begin to realise why husband's are charged with false cases. Divorce is a lucrative business. Whether the woman deserves it or not, whether she is eligible for it or not, the legal system passes on the monetary benefit to the wife, in any divorce case. Punish every woman who drags a husband to the court with false cases. If the husband can prove that the charges are false, consider his evidence in the light of equity. Let the punishment disqualify the woman from any monetary benefit in the case. See the resultant changes and the drastic decline in false cases. The burden of the courts will also decrease. Corruption in the system will also be minimised. Let marriage remain a sacred institution in society. I totally sympathise with the women victims. Let interim maintenance and alimony continue to aid women victims, but on deserving basis. Interim maintenance and alimony should be granted for subsistence, but it should not be the means to a lucrative end, in a divorce case. This way, Beti padhao movement will also gain momentum. Every young woman is capable of earning a livelihood. Let every wife earn respect in her family by being financially responsible and financially independent. This responsibility and independence stems from education, literacy.
@satishmaddheshia20 минут бұрын
Samaj hi kyu bhardwaj ji us judge ka kya to aese aese faisle turant par turant de rahi thi.. Same on our system 😢😢