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आदिवासी पारंपारिक नवाई मनाई जाती है जोकि भुना हुआ धान पक जाता है पहिला जो धान निकाला जाता है उसे प्रकृती को पूजते हुए प्रकृती को पहले वह पका कर प्रकृती के नाम पर छोडा जाता है उसके बाद में घर के सभी सदस्य नया धान का खाना चालू करते है यह एक आदिवासी समुदाय का बहुत खुशी का दिन होता है इसे पूरा गाव मिलकर इस तरह नाच किया जाता है
इसीलिए आदिवासी को प्रकृती पूजक कहा जाता है इसीलिए सबका मालिक एक है यह संदेश दिया जाता है....