जिन जिन लोगो को विषय से आपत्ति हो तथा चर्चा के इच्छुक हो । वे इस लिंक मे जोइन करके किसी भी एडमिन को सूचित करें t.me/vigyandarshan । धन्यवाद
@advaitthink45914 ай бұрын
हम सिर्फ कमेंट मे ही बकवास करेंगे ,,,आमने सामने बात करने को आदत नही है 😁😁😁😁😁
@Realintention4 ай бұрын
जय हो 🙏
@RaghavKhaire-p5e4 ай бұрын
@@Realintention vaise hindu dharm me hi ek philosophy h advait vedant naam se usme hi aatma or paramatma me koi bhed nhi h
@LordDajjal4324 ай бұрын
@@RaghavKhaire-p5e वही सत्य दर्शन है। त्रेता बाद babharic सत्य है लेकिन पारमार्थिक सत्य नहीं।
@RaghavKhaire-p5e4 ай бұрын
@@LordDajjal432 matlab me samjha nhi tum support kise kar rhe ho advait ya tretvad namak childish philosophy ko
@LordDajjal4324 ай бұрын
@@RaghavKhaire-p5e अद्वैत को सपोर्ट karta हूँ। वही सत्य है??
@RaghavKhaire-p5e4 ай бұрын
@@LordDajjal432 to tu shi chiz ko support kar rha h
@chudamanipatel67393 ай бұрын
भाई हमारे इतिहास में जो शास्त्रार्थ होते रहे होंगे उनका छोटी सी झलकी दिखी इस वाद में,,,👏👏👏👏👏
@PratibhaArya-sx5qgАй бұрын
सर्वोत्तम कार्य कर रहे हो बेटा । सदा स्वस्थ रहो दीर्घायु हो ।
@ajayaryasamaji4 ай бұрын
उत्तम मोहित
@Rabindradhanuk4 ай бұрын
Modern knowledge के साथ साथ vedic gyan भी बहुत बढिया🙏 🚩
@anjugaur85654 ай бұрын
Well done Mohit...aap jese youth ki abhi hamare desh ko bohot jarurat h...
@PunitKumar-vw7ko2 ай бұрын
बहुत सुंदर आप काम कर रहे हैं आपकों धन्यवाद
@anuprana53274 ай бұрын
बहुत बढ़िया संवाद अध्यात्म के बारे में धन्यवाद।
@how_was-that.457820 күн бұрын
Aaj ka rajiv dikshit ❤🙇🕉️🚩
@cg-sd7ec4 ай бұрын
So Informative 😃🙏Jai Shri Ram....🙏
@sonujaihind3 ай бұрын
एक अधिक ज्ञानवान दूसरे कम ज्ञानवान को अपने तर्क के आधार पर शांत कर सकता है। It's all about logic and not up to age. By the way bhai your argument is quite appropriate. Hats off to you.
@VikramVidyarthi330Ай бұрын
बहुत ही अच्छा मोहित भाई।😊
@vishnushishodia4965Ай бұрын
Bhed abhed sambandh hai... ❤
@venkantrajmscchemistry27654 ай бұрын
Great presence of mind 👏👏
@kishore13154 ай бұрын
ऐसी चर्चा भारत के गांव गांव में होना चाहिए ❤❤
@gunaji673722 күн бұрын
अयं आत्मानाम बृहम्ह
@premjitofficial4 ай бұрын
Bahut khub❤
@arvindbhaipatel78024 ай бұрын
ૐ બહુત ખુબ સનાતન વૈદિક ધમઁ કિ જય
@Iam_HoneyBadger3 ай бұрын
wah MG kamal knowledge hai bhai, kya mast bolte ho
@gourimallick12893 ай бұрын
बहुत सुन्दर प्रस्तुति 💐🙏🙏💐
@vishalking10243 ай бұрын
Isse hum pehle शास्त्रार्थ ke roop me jante the jaha Gyan ke bhandar baate jate the😊
@alpashah5728Ай бұрын
Ìn jain dharm you got all answers..
@Eternal00211Ай бұрын
Ayoo nic3
@Sagar06-1054 ай бұрын
Bhaiya please upload consistently😅we want content like these. And plz tell me how to learn sanskrit❤
@वेदानुयायी4 ай бұрын
यह कार्य अत्यन्त महत्वपूर्ण है।
@ViditArora-hc9lu4 ай бұрын
Ishwar srishti kisliye banata hai .....👇🏻 Rigved 10/67/1 जगत्पिता परमात्मा सात छन्दोंवाली वेदवाणी बहुत ज्ञान से भरी वाणी का उपदेश करता है। बिना किसी बाह्य प्रयत्न की अपेक्षा रखता हुआ सहज स्वभाव से जगत् को उत्पन्न करता है। मानवजीवन को सफल बनाने के लिए चार फलों में से अर्थात् धर्म-अर्थ-काम-मोक्ष में से मोक्ष को आत्मा के लिए प्रदान करता है। उस ऐसे परमात्मा की हमें स्तुति-प्रार्थना-उपासना करनी चाहिए ॥१॥
@harekrishna323311 күн бұрын
🚩🙏🇮🇳
@devidaspatil15734 ай бұрын
Varee good
@rj-hd6hy4 ай бұрын
Jai Shree Ram
@ninamakishan26799 күн бұрын
Jayy sanatan 🚩
@AcharyaprashantinhatharasАй бұрын
आत्मा=परम आत्मा
@bossofbossthejc4 ай бұрын
Super🎉
@nvssrtu..y..10303 ай бұрын
🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻
@shaktisinhzala21194 ай бұрын
यजुर्वेद में लिखा है, "यथा पिंडे तथा ब्रह्मंडे, यथा ब्रह्मंडे तथा पिंडे"। अर्थात् - "जैसा व्यक्ति वैसा ही ब्रह्मांड, जैसा ब्रह्मांड, वैसा ही व्यक्ति" या "जैसा मानव शरीर है, वैसा ही ब्रह्मांडीय शरीर है, जैसा ब्रह्मांडीय शरीर है, वैसा ही मानव शरीर है"
@KritikadubeyDubeyАй бұрын
❤❤❤
@v.kgamer4414 ай бұрын
अतिउतम मोहित जी
@shaktisinhzala21194 ай бұрын
जीवन में जो भी अनुभव होता है वह इंद्रियों के कारण जीव अनुभव करता है। जबकि शरीर के अंदर बैठा आत्मा केवल इस अनुभव का साक्षी/ दृष्टा मात्रा है। जीव ही त्रिगुणात्मक प्रकृति के कारण कर्म करता है। ना की आत्मा। आत्मा अकर्ता है। ....श्रीमद भगवद गीता🙏
@durgeshkushawaha1345Ай бұрын
Nice video
@user-mohansahani4 ай бұрын
MOHIT BHAI ❤❤😊
@arunsrivastava51164 ай бұрын
Good Job
@420msclub3 ай бұрын
Aatma Parmatma ka ansh hai
@azibghadi4 ай бұрын
काश मै भी यही होता 🥺
@Vigyandarshan4 ай бұрын
कभी जरूर आप भी अटेंड कर पाएंगे
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
@@Vigyandarshan क्या आत्मा सर्वव्यापी हैं या नहीं ???
@PunitKumar-vw7ko2 ай бұрын
@@SPARTANGYMNASIUनही
@amanshrivastava33524 ай бұрын
i came from that show.. and i am ready for the debate
@Vigyandarshan3 ай бұрын
Write your details at mgtmarketers@gmail.com
@Knowledge06494 ай бұрын
❤
@vishwanathtayal54444 ай бұрын
प्रत्येक शरीर में जीवात्मा अभिमानी के तौर पर मौजूद है और परमात्मा अनुशयी आत्मा के रूप में अवस्थित है।
@Paramdsha16 күн бұрын
अगर तुम्हारा ईश्वर सर्वव्यापक है प्रकृति की अलग सत्ता है। तो तुम्हारा ईश्वर सर्वव्यापक नहीं हो सकता क्योंकि जहां जहां पर तुमने प्रकृति की सत्ता स्वीकार करी है वहां वहां पर तुम्हारा ईश्वर अनुपस्थित रहेगा।
@engineeringnerds16Ай бұрын
When u say atma and permatma r different then it means atma is apart from permatma.... But in reality permatma is omnipresent in and through atma.... This is as per adwait vedanta d higher truth... So main difference is d small physical layer around atma called as mind.... When it breaks u dissolve into d permatma called brahman... And that's d highest philosophical goal for every human... 🙏🙏🙏 So permatma is that divine light without heat (sant dnyaneshwar explained it in dnyaneshwari) since it has its own light which is not borrowed from anywhere... And when u get glimpse of it on your screern called mind... U will understand d mystery of this universe which had risen and fallen in ur plane of consciousness....!!!!
@engineeringnerds16Ай бұрын
So when an atheist says I don't believe in god I believe in myself then actually he believes in God too... Because d real God is present in him too..its just his ignorance because of d ego which preset near our intelligence.....sant dnyaneshwar mahraj explained it nicely to changadev in his verses called changadev pasasthi.... Very nicely explained everything राम कृष्ण हरी 🙏🙏🙏
@akashgour98604 ай бұрын
यह प्रश्न ही अपने आप मे उत्तर है, एक तो आत्मा है दूसरा परम-आत्मा अर्थात उस आत्मा से भी श्रेष्ठ ,एक और आत्मा ,फिर यह एक कैसे हो सकते है ,ईश्वर जीव प्रकृति ,तीन सत्ताएं अनादि है ,वेद का अकाट्य सिद्धांत
@Osho13094 ай бұрын
एक प्रश्न यह है कि अगर परमात्मा, आत्मा और प्रकृति तीनो अलग अलग हैं और परमात्मा सर्वव्यापक है तो कैसे है, क्योकि जब प्रकृति अलग है, मनुष्य शरीर प्रकृति और आत्मा है। तो परमात्मा सर्वत्र व्याप्त कैसे है ?
@themukesh.k4 ай бұрын
@@Osho1309क्योंकि परमात्मा जीवात्मा और प्रकृति से अधिक सुक्ष्म है और शक्तिशाली भी अधिक है तो वह दोनों में व्याप्त होकर विद्यमान रहता है, इसलिए सर्वव्यापी है 🙏
@akashgour98604 ай бұрын
@@Osho1309परमात्मा सर्वव्यापक है ,उसके इस गुण मे कोई दोष नही आएगा क्योकि ईश्वर मे स्पर्श तन्मात्रा नही है अर्थात ईश्वर को कोई पदार्थ स्पर्श नही कर सकता इसलिए ईश्वर हर चीज के भीतर बाहर है ,सर्वव्यापक है । आत्मा और परमात्मा दोनो चेतन पदार्थ है और चेतन पदार्थ मे स्पर्श तन्मात्रा नही होती इसलिए ईश्वर स्थान नही घेरता और वो सर्वत्र व्याप्त है
@Osho13094 ай бұрын
@@akashgour9860समझ मे नही आ रहा है भाई। इसका कोई उदाहरण दो ।
@R.N.Kao-RAW4 ай бұрын
Jay Shree Ram *comment id 604* Real hindu accepted this rules are *7* *Ye comment sirf hinduo ke liye he baki log ignore kare.* Will you follow 10 passive rules? *Rule 1* Shantidoot dharm dekh ke logo ko marate he Tum dharm dekh ke sabji etc kharidi karoge? *Rule 2* Kam se kam khud ke family ki raksha kar sako itana mentally physically prepare hona chalu karoge?
@motivationalsports93744 ай бұрын
आत्मा और परमात्मा में उतना ही अंतर है जितना सूरज और सूरज के प्रकाश में
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
हाँ , ठीक हैं ।। जीव ही जीवात्मा हैं , जीवात्मा ही आत्मा हैं और आत्मा ही परमात्मा हैं ।।।
@mystickabuganj3 ай бұрын
Apne face reveal kar diya Jai shree Ram 🙏♥️
@jaijakhar5Ай бұрын
Ram Ram ji
@ViditArora-hc9lu4 ай бұрын
Bhai aap Dharma Live pe aaiye debate me ❤❤
@ViditArora-hc9lu4 ай бұрын
Avtarwad khandan Ved se 👇🏻 Rigved 1/170/1 जो जीवरूप होकर उत्पन्न नहीं होता और न उत्पन्न होकर विनाश को प्राप्त होता है, नित्य आश्चर्य गुण, कर्म, स्वभाववाला अनादि चेतन है, उसका जाननेवाला भी आश्चर्यस्वरूप होता है ॥ १
@RaghavKhaire-p5e4 ай бұрын
@@ViditArora-hc9lu pehli bat avatarvad ka khandan tu kar nhi sakta kyuki avatar vad Satya h or dusri bat apni shakal dekh le ek bar tu aaya h avatarvad ka khandan karne acha ye bata janm ka arth kya h ek shrir bana usme aatma prakat ho gyi se hota h janm ka asli matlab or avatar ka matlab h paramatma ka Divya shrir unki icha se kisi ke garbh me utpann hua. Or usme paramatma prakat hue itna simple matlab h janm ka lekin milavat samajik ne itna bhi nhi samjha or keh rhe h vedo me sakar ishwer nhi h jabki vedo me shiv ji ka naam h shree hari ka naam bhi h ye to sakar ishwer h or jo shlok ke adhar par tum kehte ho ki paramatma ki koi pratima nhi ho sakti mera challenge h kisi Sanskrit scholar ke pas jao or use is shlok ka matlab pucho vo yhi khega iska matlab h. Ishwer kee saman koi nhi h lekin uski pratima ho sakti h
@ViditArora-hc9lu4 ай бұрын
@@RaghavKhaire-p5e phele thoda chota likh fir padhunga 🤣🤣🤣
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
@@ViditArora-hc9lu ईश्वर अवतार ग्रहण करता हैं ।। जैसे :- भगवान् श्रीराम , भगवान् श्रीकृष्ण ।।
@VedicYaduvanshi4 ай бұрын
Advait hi satya hai ❤❤❤
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
हाँ ।। अद्वैतदर्शन सदाविजायते ।। 🙏
@Sanatani_AxN4 ай бұрын
Jai Shri Hari Mohit bhai ko main stream media me aana chaiye debates ke liye
@studies33273 ай бұрын
Bahut acche bhai aapko "problems of philosophy" burtrand russel ki pustak padh kar pashchaattya darshan mein bhi pravesh karna chahiye, mai bhi apne vichar avashya sajha karunga
@seekar7864 ай бұрын
🙏
@ravalkanoj3 ай бұрын
उतम
@bff44563 ай бұрын
New baba loaded 😢
@dozuki13614 ай бұрын
Pls answer. Me ise normal language me hi puchra hu jitna clear ho sku utna, "mein" agar consciousness hu, jo experiencer hai, wo supreme consciousness se alag kese hai? Wo to shareer se hi experience kr skta hai na otherwise consciousness manifest kaha ho paegi? Jese deep sleep me hame pata hai ham aware hai kyunki ham absence ko experience krre h as a qualia. The absence of qualia is also a qualia so consciousness is independent of qualia as qualia originates from it. To fir y to har ek chiz me hi hai, jo sense experiencer hai wo to hamesha marta hi rehta hai, hut awareness jo absence ko bhi experience krti wo to stable constant hai to wo suprene consciousness se alag kese hai
@shaktisinhzala21194 ай бұрын
जीव और आत्मा भिन्न है। आत्मा तीन शरीरों के आवरण से ढकी हुई है। स्थूल, सुक्ष्म और कारण शरीर। मन, बुद्धि, चित, अहंकार, पांच ज्ञानेंद्रीय , कर्मेंद्रिय, तन्मात्रा, पंचमहाभूत इन सबको मिलकर जीव बनता है। जिसे प्रकृति भी कहते हो और माया भी कहते है। आत्मा इन से भिन्न है। परम आनंद स्वरूप शुद्ध है।
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
" आत्मा " एक संस्कृतभाषा का स्त्रीलिङ्ग शब्द हैं , जिसका शाब्दिक अर्थ " जीव " भी होता हैं , इसलिए इसको जीवात्मा भी कहते हैं ।। वैसे इस शब्द के कई अर्थ होते हैं , क्योंकि यह अनेकार्थी शब्द हैं ।। जीव ही जीवात्मा हैं और जीवात्मा ही आत्मा हैं ।।।
@shaktisinhzala21193 ай бұрын
@@SPARTANGYMNASIU आपकी बात सही ही। जब आत्मा माया के बंधन में रहता है तब उसे जीवात्मा ही कहते है। जब तक मोक्ष नहीं मिलता तब तक जीवात्मा ही है। जब उसे अपने सच्चे स्वरूप का ज्ञान होता है। तब वह केवल आत्मा ही होता है।
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
@@shaktisinhzala2119 वाह ! आपने एकदम् सटीक कहा हैं ।। 😃😃😃 👍 जब स्थूलशरीर या स्थूलदेह , सूक्ष्मशरीर या सूक्ष्मदेह , जिसको लिङ्गशरीर या लिङ्गदेह भी कहते हैं और कारणशरीर या कारणदेह अर्थात् तीनों शरीर या देह समाप्त हो जाती हैं यानी प्रकृतितत्त्व से सम्बन्ध टूट जाता हैं , तब शरीरी या देही अर्थात् जीवात्मा ( पुरुषतत्त्व या चेतनतत्त्व ) ही शुद्ध-बुद्ध-असंग आत्मा कहलाता हैं ।। 👍😃 हर हर महादेव 🙏🙏🙏
@Bharat_mata233 ай бұрын
Bhai aap ho sanatan ki अगली सीढ़ी ❤❤
@ViditArora-hc9lu4 ай бұрын
Bhai aap Dharma Live pe aaiye debate me 🎉❤
@NoThing-ec9km3 ай бұрын
*I think i need to make distinction between Atman and Jivatman.*
@msaw5044 ай бұрын
आपकी बात ग़लत है। राह दे राह दे।
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
यह आत्मा को परमात्मा से पृथक् कर रहा हैं , जो कि एकदम् गलत हैं ।।
@msaw5043 ай бұрын
@@SPARTANGYMNASIU हां भाई। रोधे रोधे।
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
@@msaw504 राधे-राधे 🙏
@Maharshi_Vyas3 ай бұрын
मेरा प्रश्न है कि यदि आत्मा दुखी अथवा सुखी होती है तो वह विकारी हो गया क्योंकि दुखी अथवा सुखी होना एक प्रकार का विकार ही है जबकि शास्त्रों में आत्मा को अविकारी कहा गया है कृपया समाधान करें🙏🙏
@katyabhai69473 ай бұрын
intelligence and conscience ko bhai sab ne object keh diya 😂 wah re logic ..
@brandedgamerff84902 ай бұрын
Bhai you need to listen to osho even a single time
@alpashah5728Ай бұрын
Aatma parmatma ban sakti hai
@prabhatrajput2827Ай бұрын
क्या आपका नम्बर मिल सकता है। अथर्ववेद के सम्बन्ध में कुछ बात करनी है।
@anandathirtha95363 ай бұрын
Do you follow dwaita siddhanta
@Rendomshorts0073 ай бұрын
Pehli baar sunna raha hoon ki atma ko dukh hota h 😂😂
@420msclub3 ай бұрын
@@Rendomshorts007 dukhi aatma chup ho ja
@Rendomshorts0073 ай бұрын
@@420msclub bhai dukhi tu h tbhi to dard hya mere cmnt se 🤣🤣💉
@azibghadi4 ай бұрын
VG ji aap ne kaha tha lakho saal pahle kheti ke evidence milte hai, iske baare me kaha se jane. Source bata sakte hai aap ?
@direct2jai13 күн бұрын
Koi bhagwan nahi hota. Sab energy transfer se sab chalta rehta hai. Energy can't be made, can't be stored, can't be destructed, it can only be transferred. There is no Bhagwan. Yes shaitaan is there coz u can feel it but can never feel bhagwan. I challenge Mohit Gaur to prove if there is any God
@arunsadangi70634 ай бұрын
Sastarth ke liye चुनौती
@Vigyandarshan4 ай бұрын
जी ईमेल करिये जानकारी
@Kalyugi_yogii10 күн бұрын
Maja aaagya😂
@motivationalsports93744 ай бұрын
आत्मा को नहीं सुख होता है ना ही दुख होता है ना ही पूण मिलता है ना ही पाप मिलता है
@Osho13094 ай бұрын
एक प्रश्न यह है कि अगर परमात्मा, आत्मा और प्रकृति तीनो अलग अलग हैं और परमात्मा सर्वव्यापक है तो कैसे है, क्योकि जब प्रकृति अलग है, मनुष्य शरीर प्रकृति और आत्मा है। तो परमात्मा सर्वत्र व्याप्त कैसे है ?
@motivationalsports93744 ай бұрын
जीवात्मा का मतलब=आत्मा+मन
@VaidicRastra4 ай бұрын
पहले तो पहचाना ही नहीं 😅 सोचा कि ये मोटिवेशन स्पीकर है जिसका खंडन आप करोगे 😂
@Srkt618 күн бұрын
paratma har chiz me rahta hai to kya o physical hai?
@greatindia41754 ай бұрын
bhai aap varn vyastha ke bare me batao
@LordDajjal4324 ай бұрын
आत्मा, परमात्मा में पारमार्थिक लेवल पर कोई भेद नहीं है। अगर भेद है तो इश्वर का omnipresent होना संबंध नहीं। जहाँ भेद है वहां इश्वर का होना सम्भव ही नहीं। क्यूँ की तीनों का मूल उपादान ही अलग अलग है। अगर मूल उपादान एक है तो हो जाता है अद्वैत का सिद्धि। अगर आप आत्मा, परमात्मा को अलग अलग independent existence रखने वाला eternal सत्ता मानते हो तो सम्भव ही नहीं। इसलिए अद्वैत ही जायदा logical है।।
@Vigyandarshan4 ай бұрын
निराकार होने के कारण ना आत्मा स्थान घेरता है ना परमात्मा । जब परमत्मा स्थान ही नही घेरता तो उसे ओमनिप्रेजेंट होने मे कही कोई बाधा नही आती । मेरा निवेदन है इसपर आप अपने तार्किक विश्लेषण का निर्णय करने के लिए ऐसी विमर्श सभा मे कभी आए वा लाईव बात करे । कमेंट मे चर्चा तो असंभव है
@vaibhavyadav99123 ай бұрын
Aatma paramatma mei as such koi antar nahi hai. Aatma khud ko parmatma keh sakegi, agar vo maya se mukt ho sake. Maya rupi agyan ke chole ke kaaran hi logo mei bhed hota hai. Only the "self" is satt, rest is mithya. "Self" determines & shapes the maya rupi reality around it.
@azibghadi4 ай бұрын
प्रश्न - क्या परमात्मा आत्मा को control कर सकता है ?
@shashankkgupta4 ай бұрын
Nhi bus use Gyan de sakta hai atma ki sway ki satta hai isi liye to parmatma uske karmo me badha nhi Banta
@SantoshKumar-jd5mo3 ай бұрын
क्या बात करते हो, माला जापु ना कर जापू, और मुख से कहूं न राम । मेरा हरी मोकू भजे और, हम पायो विश्राम ।।
@shashankkgupta3 ай бұрын
@@SantoshKumar-jd5mo acha 😆
@azibghadi3 ай бұрын
@@SantoshKumar-jd5mo ये क्या था बे ?
@SPARTANGYMNASIU3 ай бұрын
जीवात्मा ही आत्मा और आत्मा ही परमात्मा हैं ।।
@NeetAspirant0674 ай бұрын
Koi charge hai attend karne ke liye ya free ❤❤
@Vigyandarshan3 ай бұрын
फ्री
@ayushdesai1554 ай бұрын
अरे भाई वेदांत दर्शन 1.4.23 मे ईश्वर प्रकृति अर्थात उपादान कारण भी है लिखा है कहा जी रहे हो?
@shashankkgupta4 ай бұрын
Samjh nhi paye lagta hai thik se
@VaidicRastra4 ай бұрын
गलत भाष्य देख लिया होगा सही से नहीं समझा तुमने।
@nileshdabhi6474 ай бұрын
Agar aatma sarir chalata hai to mriteu kyu aati hai Bagvan shree Krishnne bhagvat geeta me sarvasy chaham hridi sanni vistho matla mai sabhi ke riday me biraj ta hu
@NoThing-ec9km3 ай бұрын
*"Ayam atma bramh."* *"Aham Bramhasmi."* *"Tat tvam asi."* Agar Atma or Paramatma alag he wo ye bat in Mahavakya ke khilaf chali gayi na. Me Atma ko Jivatma nahi maanta. Jivatma alag he Atma/Paramatma alag he. Man ke jo dosh he wo bhi atma Anubhav kar rahi he man ke dosho ko bhi anubhav kar rhi he. Atma me kabhi dosh nahi ate. Jiv or Ishwar alag he. Atma or Paramatma ek hi he or Jivatma or Atma alag he.
@mukeshtiwari66343 ай бұрын
Es srishti me ya bhagavaan k concept me do chij ho hi nahi sakti. Bhagavaan 2 chij q hi banaega?? Kadapi nahi. Atma jeevatma aisa nahi j.. Es poori srishti k roop me bhagwaan swayam ko hi dikha raha h. If sabke bich ka space khatm ho jae toh sab ek me hi sama jaega isiliye kaha b gaya h k sab ek h. Drishti and drishya ek hi h. Ishwar sab me h bas apne vatavaran, maahaul, conditioning k karan vyakti waisa. Aachran. Karta h, sochta h. Ek kursi me b bhagavaan h. Ek jeevit prani me n mare hue. Prani me b. Toh sawal hk jan laash me b bhagavaan h kursi me b bhagavaan h toh wo jeevit q nahi h qk usme bhagwaan ki marji ya ikshashakti nahi h. Isiliye wo mara hua h. Log puchhte hk bhagwaan ne ye srishti q banai prani q banae qk jis tarah ek talented. Vyakti ka tailent nikal kar hi rahta h ruk nahi sakta bilkul usi tarah bhagavaan me ja bhara pada h use toh chhalakna hi tha. Bt ye apne ap nahi hua h hua usi bhagwaan ki marji se hi h. Bas. Ek kaam kiya bhagwaan ne jab. B. Ye sab shuru hua toh. Usne cause n effect ka rule laagoo kardiya es poori srishti me b n. Esse bahar b. Bhagwaan kahi virajmaan nahi h aur h b aapki sradhanusaar wo kuchh b kar sakta h. Wo kali b banjaega. Aur mahadev allah b jessus b. 33crore devi devta to es hisab se kam hi h ye dekh lo k srishti me. Kitni log kitne jeev jantu, kitne vanaspati jungle. Jharne. Aur b jaane kyaa kya to eski toh koi counting hi nahi h. Isiliye vedon me sirf ek baat kahi gai h Adwait. Yani wo 2 nahi h eske 2arth hue k wo 2 nahi ek h ya wo 2 nahi h na jaane wo bhagwaan kitne h kitne kitne h Jo bilkul sahi h. Jab kisi vastu ko ya prani ko shuttle se shuttle level par Scientist dekhte h to sirf tarange dikhti h bas wahi tarange bhagwaan h. Uski aaradhna karo mediation me utarte chale jao parantu bina lalach k toh jaisa b roop aap dekhna chahte h wo bhagwaan apko dikha. K rahega
@MohommadAnsari-i9k4 ай бұрын
Advait philosophy ki chaa mood di aapne 😂😂😂
@MohommadAnsari-i9k4 ай бұрын
@@RaghavKhaire-p5e babu, advait philosophy adi Shankaracharya se suru Hui hai, Unse pehele advait ka existence ka koi proof nahi 😂😂😂
@MohommadAnsari-i9k4 ай бұрын
@@RaghavKhaire-p5e ganja Kam Fooka karo
@RaghavKhaire-p5e4 ай бұрын
@@MohommadAnsari-i9k Galat advait Narayan se shuru hui h
@RaghavKhaire-p5e4 ай бұрын
@@MohommadAnsari-i9k ye philosophy guru shishya parampara se mili h use tum nhi samajh sakte
@MohommadAnsari-i9k4 ай бұрын
@@RaghavKhaire-p5e haar Gyan sisya ko guru se hi milti hai Veedo ka gyaan bhi guru sisya se chala aaya hai, 😂
@NoThing-ec9km3 ай бұрын
*Bhai sharir ko dharan ki hui atma ko "Jivatma" bolo Atma mat bolo.*
@jai_shree_ram_krishn3 ай бұрын
Advait ka parmatma murkh hai alpagya aur sarvashaktiman bhi nahi hai batao avidya mei fas jata hai 😂 wo bhi apni hi shakti maya ke kaaran batao bhala koi doosra avidya mei daale toh samjhe bhi par khud khud ko murkh banana 😂
@Einstein-pz5vl4 ай бұрын
Bhayi science journey se debate kr lo wo parmata ,atma sab dikha dikha dega 😂😂😂😂😂bade bade babao ko dikhaya hai
@ritikpandey2044 ай бұрын
Usko bol pahyle sanatan samiksha ko un block kare. Darpok h vo
@rj-hd6hy4 ай бұрын
Bolne se pahle apne baap ka parichay lele. Ye MG technical hain inhone tere journey ki chaddi faad di thi. π constant hai ya nahi ye inhone hi sikhaya tha chatni ko. Vishwas na ho to search karke dekhle video MG Technical vs journey.
@rj-hd6hy4 ай бұрын
Journey ke aand kabhi uski chaddi se bahar nikal kar dekho dunia bahut badi hai.
@Einstein-pz5vl4 ай бұрын
@@rj-hd6hy pahle indra k jo aand bakre k lagaye the pahle wo sahi kr 😄😄😄😄😄😄😄😄😄
@Einstein-pz5vl4 ай бұрын
@@ritikpandey204 live debate me koyi block ni krta hai..Sanatan samiksha ko bolna k kaaalnemi ko unblock kre stream yard pe 😄😄😄😄😄😄😄😄
@hks-h9q27 күн бұрын
एक अल्पज्ञ दूसरे अल्पज्ञ को सर्वज्ञ का ज्ञान दे रहा है? एक अंधा दूसरे अंधे को रास्ता दिखा रहा है?🤔😂
@Vigyandarshan27 күн бұрын
@@hks-h9q आपने शायद troll में कहीं हो ये बात..पर वास्तव मे कुछ गहरा लिख गए 😃
@hks-h9q27 күн бұрын
@@Vigyandarshanकिसी को troll करना मेरा कोई उद्देश्य नहीं है। परमात्मा अज्ञेय है।उसको किसी भी साधन से जाना नहीं जा सकता।ये ही सत्य है।
@brijkishorebajpai423 ай бұрын
आर्य समाज के स्वामी दयानंद सरस्वती के त्रैतवाद का समूल खंडन करपात्रीजी, शंकराचार्यों और अन्य सभी दर्शनाचार्यों ने बहुत पहले ही कर दिया है, आप उन सभी के सटीक और अकाट्य तर्कों का सम्यक अध्ययन कीजिए, आपका अध्ययन अभी अधूरा और अपरिपक्व है.
@PunitKumar-vw7ko2 ай бұрын
पहले तो शंकराचार्य का अवैध का खंडन रामानुजाचार्य ने किया माधवाचार्य ने किया निंबार्काचार्य ने किया विष्णु स्वामी ने किया पहले आप उनको पढ़िए फिर दूसरे को लेक्चर दीजिए
@PunitKumar-vw7ko2 ай бұрын
माधवाचार्य के अद्वैतवादखंडनं
@PunitKumar-vw7ko2 ай бұрын
करपात्री को काशीकानंद ने कहा था की संस्कृत जाओ ठीक से पढ़ो फिर शास्त्रार्थ करना
@PunitKumar-vw7ko2 ай бұрын
आप यहां पर आकर तर्क सटीक प्रस्तुतकरें
@ViditArora-hc9lu4 ай бұрын
Shadi se phele samagam nahi Yajurveda 8/23 इस संसार में मनुष्यजन्म को पाकर स्त्री और पुरुष ब्रह्मचर्य्य, उत्तम विद्या, अच्छे गुण और पराक्रमयुक्त होकर विवाह करें। विवाह की मर्यादा ही से सन्तानों की उत्पत्ति और रतिक्रीड़ा से उत्पन्न हुए सुख को प्राप्त होकर नित्य आनन्द में रहें। विना विवाह के स्त्री-पुरुष वा पुरुष-स्त्री के समागम की इच्छा मन से भी न करें। जिससे मनुष्यशक्ति की बढ़ती होवे, इससे गृहाश्रम का आरम्भ स्त्री-पुरुष करें ॥१०॥
@amrbinhishamabujahl29593 ай бұрын
Arjun puchte hai sayed sankhya yog atwa Karma yog mein ki sarir ko bina sparsh kiye jo dukh atwa sukh ki prapti hoti hai humme woh kaun anubhav karta hai? Kya yeh anubhuti atma ko hoti hai? Toh Krishna ji uttar dete huye kehete hai ki nhi, yeh anubhuti "Mann" ko hoti hai, mann sarir ka hi ek adrishya ang hai jo sarir se jude huye indriyo ke anushar sukh, dukh jaise ityadi emotions ko anubhav kerta hai. Jabki atma inn sabhi bandhano se mukht hai, atma kisi bhi prakar ke emotions atwa feelings se juda huya nhi hota.. atma bss hai, unka hona hi satya hai. Sarir ke nasth hote hi sashe ruk jati hai aur saath hi saath sarir evam usse judi huyi Indriya bhi nasth ho jati hai, mann bhi. Kewal atma nhi. Toh prashna yeh hai apse ke yeh bhai toh kehe raha hai ke atma ko anubhuti hoti hai jabki Bhagawad geeta mein Krishna ji kehete hai ke nhi hoti. Ab kaun satya bol raha hai? 😢
@amrbinhishamabujahl29593 ай бұрын
Oh bhai tatva kay hota hai? Nyay darshan ke anushar tatva toh woh pramiti atwa gyan hai jisse ki hum jo jaisa hai usse hum waisa hi jante hai. Toh fir yeh ati shukshma tatva kya hota hai 😑. Baba confusion mein hu bhai batao.. Tatva ka arth hota kya hai?
@amrbinhishamabujahl29593 ай бұрын
Yeh toh trethvad concept hai.. jabki dwetvad aur adwetvad mein yeh concept nhi hai.. aur tretvad concept ke manne wale log bhi sanatan dharma ke kaam hai. Toh fir satya kaun bol raha hai?