Channel of Wisdom Treasure, Amazing Speaker, amazing simplicity.
@chanchalsharma40639 ай бұрын
Pranaam Prabhu
@RameshChand-mv9sf3 жыл бұрын
आप बहुत ही सही तरीके से बता रहे हो जारी रहे लोगो बहुत मिल रहा है
@gouravkarhana15893 жыл бұрын
Naman mere gurudev 🙇🌹🌹❤️bhut abhar
@mukesharyan43362 жыл бұрын
Bahut bahut dhanyawad 🙏🙏🙏
@geetachand7237 Жыл бұрын
Guruji apko shastang namaskar hai❤ itna sahaj gyan jo hum bhagyavan hai hami mila hai.❤😊😊😊
@inderjeetk26172 жыл бұрын
संकर्षण के नियम को सुन कर नतमस्तक हु आपके चरणों में 🙏🌺
@ankushsharma3033 жыл бұрын
Thankyou sooo much guruji please please please keep doing and continue uploading this precious knowledge. Lots of love thankyou.
@bodhivarta3 жыл бұрын
I will try my best🙏
@v.d.sharma140010 ай бұрын
बोधि वार्ता चित्त बहुत सुंदर
@kiransama36213 жыл бұрын
Bahut se video dekhane hai tabhi clear hoga . Bahut elaborate ( विस्तार )है ।
@nageshbhosale5 жыл бұрын
धन्यवाद... बहोत ही सरल मार्गदर्शन... please upload shiv shakti energy topic...💐
@satyendrakumargupta92463 жыл бұрын
Amazing way of expiation.natural way. Easily grapsed
@RajkanwarRathore-rj6te9 ай бұрын
Sat saheb 🙏
@lalitkishore301 Жыл бұрын
Much beautiful❤❤❤🎉🎉🎉
@rameshchand564010 ай бұрын
Thanks 👍❤
@umeshsharma81553 жыл бұрын
प्रणाम सर जी आप ने जो स्व समानता का जो नियम बताया उससे विरुध्द, मेरे को इस संसार मे एक स्व असमानता का नियम देखने को मिलता है. जेसे की मनुष्य मनुष्य से अलग है, उनकी आंख से आंख नहीं मिलती हाथ की लकीरें नहीं मिलाती, जगत के प्राणी से प्राणी भिन्न है, यंहा तक की एक ही पेड के पत्तों को सूक्ष्मता से देखा जाए तो उसमे भी भिन्नता नज़र आएगी. तो सर जी ये भिन्नता का नियम को समझाये. 🙏🙏🙏🙏
@bodhivarta3 жыл бұрын
प्रणाम, स्वसमानता का अर्थ है रचना का छोटा भाग उसके बड़े भाग के समान होगा। यहाँ देखें : hi.wikipedia.org/wiki/%E0%A4%AD%E0%A4%97%E0%A5%8D%E0%A4%A8
@pragatiratnaparkhi74873 жыл бұрын
Shrimanji, Ahobhav ke sath mera sader prnaam sweekar kijiyega 🙏🙏 bahut hi Sarthak aur saral Shabdo me samjha hai chitt ke punha punha dhanywad.
@bodhivarta3 жыл бұрын
🙏अच्छा लगा जानकर कि ये वीडियो आपके कुछ काम आया
@harirasmusicclassgadhavisi45693 жыл бұрын
Gahara chintan he apaka
@maitreyabodh3 жыл бұрын
सत्संग का सार - नियम को तोड़ा नहीं जा सकता परंतु उनके ऊपर उठा जा सकता है बस इतना जानना है की यह नियम भी एक अनुभव हैं और मैं अनुभवकर्ता उनको अनुभव कर रहा हूँ 🙏🏻 आपको नमन 🙏🏻😇
@rameshchand564010 ай бұрын
Thanks ❤
@Shivam-bz2ub Жыл бұрын
Thank you so much sir ji
@PawandeepAneja3 жыл бұрын
My Guru says....there are truths and higher truths...the highest truth is that we are pure consciousness...all the other truths are at a lower level...i also sometimes get that glimpse but I need to do more practice and let it settle
@dineshkumar-pu1nm Жыл бұрын
🙏🙏🌺🌺🌺
@manilalpanchal57183 жыл бұрын
kya is vaartaa ki pen drive available hai
@Suyash552Ай бұрын
दूसरे लोकों की स्मृति भी क्या ब्यक्तिगत स्मृति में संगृहीत है गुरुजी?
@Suyash552Ай бұрын
गुरुजी क्या जगत के इच्छा और जीव के इच्छा दो अलग है, जैसे जीव को जगत के इच्छा से चलना पड़ता है?
@madhurikumari16973 жыл бұрын
कई बार हम ऐसे स्वप्न देखते हैं जिनकी कल्पना भी नहीं की कभी, यहां शंका होती है कि वे स्वप्न भी क्या किसी स्मृति से आ रहे हैं? यहां दृष्टि सृष्टि को कैसे देख सकते हैं 🙏
@sourav2323 жыл бұрын
अनाहत नाद क्या है?? कृपया इस पर एक video बनाए
@sherbist83742 жыл бұрын
🙏🙏🌺
@VirendraSingh-iu2nc2 жыл бұрын
आपके वीडियो के बारे में लिखना चित्त के नियमों का उल्लंघन होगा. उलंघन असम्भव है थोड़ा बहुत संतुलन ला सकते है उपर उठ सकते है और कह सकते है कि वीडियो में सुन्दरता है इसलिये पूर्णता है.
@Pravinvirkar3 жыл бұрын
Guruji kya aap law of attraction ke vishay me ek video bana sakte ho? kya law of attraction law of mind Me ata he?
@bodhivarta3 жыл бұрын
ये पश्चिमी अंधविश्वास है । संकर्षण के नियम का भ्रष्ट रूप है ।
@AjjuDaVlog3 жыл бұрын
Namaskar sir, I loved this video as all other videos you made. Sir can you please provide link to the video where you have given introduction to vishwa chit and maha chit. How they are different and related to each other. Thank you sir.
@bodhivarta3 жыл бұрын
नमस्ते । ज्ञानमार्ग की श्रृंखला में चित्त की परतें का विडियो देखिये । kzbin.info/aero/PLGIXB-TUE6CQ6_eata_SWu-HKz2OSZUAN
@AjjuDaVlog3 жыл бұрын
@@bodhivarta thank you sir
@Suyash552Ай бұрын
गुरुजी अगर चित्त में बस्तु का निर्माण पूर्ब संगृहीत ज्ञान से होता है, तो फिर जब हम नये बस्तु को देखते हैं, उसका निर्माण कैसे होता है?
@shiprasahu82562 жыл бұрын
🙏🙏🙏🙏🙏..
@basantihumreadysainiyes97833 жыл бұрын
🙏🙏🙏🙏
@indrani83783 жыл бұрын
Do you have these videos in English?
@bodhivarta3 жыл бұрын
Sure. English series : kzbin.info/aero/PLB-JSAbBz5B55KOYv9QFKc46zkYhSeT0W
@indrani83783 жыл бұрын
@@bodhivarta Many thanks for sharing the links...if you have any videos in English of the Layers of Mind and Laws of Mind kindly share the links. Thanks in advance
@bodhivarta3 жыл бұрын
Its all in that series. Welcome always.
@maltipatel37963 жыл бұрын
🌹🙏🌹
@nitinengg77833 жыл бұрын
I respect you I like you I love you. God bless you
@amitbiswas18852 жыл бұрын
🙏
@manmathahaldar92213 жыл бұрын
🙏🙏🙏
@rameshadhikari23453 жыл бұрын
Hm ..yesterday I tried to meditate can't make it..
@RaviRavi-tg8nt4 жыл бұрын
Wo kon si prakriya h jisse viswa chitt ka ek chota sa kann uske hi sambhavit rachna me fas jaata h aur kisi bhi tarah k sarir se bandh jaata h ... Ya ek anubhavkarta ko sabse pahla sareer kaise milta h ... Vo koi bhi sareer ho most probably wo kisi lower organism ka hoga Ya laymen's term me ek jeev ka janm kaise hota h ... Obviously it's eternal ... I hope you get my question.
@bodhivarta4 жыл бұрын
अनुभवकर्ता केवल साक्षी है , दृष्टा है , आत्मन है , अस्तित्व स्वयं है। उसको कोई शरीर नहीं मिलता न वो चाहता है न कुछ रचता है न कुछ करता है। अधिक जानकरी : kzbin.info/www/bejne/q4ezpIqjjJKSmNE चित्त, जगत और शरीर माया है और इसमें विकास की संभावना है , नई रचनाएँ उभरती हैं , बिगड़ती हैं। रचनाएँ नाद से बनी हैं जो स्वयं संगठित होकर जटिल होती जाती हैं। ऐसी एक रचना कारण शरीर है जो स्मृतिओं का लेखा है। यही रचना संगठित होकर विभिन्न जीवों का रूप लेती है। मानव शरीर एक रचना है , इसका जोड़ कारण शरीर से होने पर जीवन मिलता है। अधिक जानकरी : kzbin.info/www/bejne/gKq5qaeYqLVlos0 kzbin.info/www/bejne/f5m5eKmmrLmBjbM kzbin.info/www/bejne/oGLaZJKnachogMU
@munawarabbas93123 жыл бұрын
chitam mantram
@bhavnaalund9453 жыл бұрын
🙏🙏🌹👏👏💚👌👌
@bodhivarta3 жыл бұрын
🙏🌷🙏
@a27a27 Жыл бұрын
🙏🙏🙏🧎♀️
@jigneshparmar25003 жыл бұрын
🙂🙏🏻
@Chaitanyakash4 жыл бұрын
द्वैत को मैं समझा नही अभी तक। क्या आप और सरल तरीके से बता सकते हैं क्या?
@bodhivarta4 жыл бұрын
अस्तित्व जो अद्वैत है जब चित्त द्वारा अनुभव और अनुभवकर्ता में विभाजित किया जाता है वो अवस्था द्वैत है । चित्त अनुभव को भी विभाजित करता है, अच्छा बुरा, सुन्दर कुरूप, सुख दुःख आदि ।
@lalitmungali43733 жыл бұрын
Drasta, karta aur karm....
@foreigncurrecyexchange33293 жыл бұрын
Sir main jo bolu kam hai, shabd nahi hain. 😪
@PawandeepAneja3 жыл бұрын
आपने यहां संकर्षण के नियम की व्याख्या की और कहा कि चित् एक ही तरफ चलता है। मैं इस नियम से पीड़ित हूं, लाख कोशिशों के बाद भी इस के पार नहीं जा पा रहा। भोग की उसी वस्तु की तरफ चित् बार बार जाता है। Even the effort to renounce it is not giving any result...I am so sick aand tired of my impure thoughts....will any tantrik method or even Aghor will help...so basically you indulge and then overcome the propensity.... please guide me if you have a solution....i feel completely helpless🙏🙏
@bodhivarta3 жыл бұрын
पवनदीप जी , ये अज्ञान के कारण है , आत्मज्ञान से ही वृत्तिओं का समूल नाश होगा। व्यवस्थित रूप से चलें , गुरु के मार्गदर्शन में। बिना सोचे कोई कदम न उठायें, अब तक तो यही किया है इसलिए फल नहीं मिला। मुझसे संपर्क करें , इच्छा हो तो। संपर्क की जानकारी यहाँ है : pureexperiences.blogspot.com/p/blog-page_22.html
@preetihamilton28523 жыл бұрын
Omg. This is amazing ... the law of consciousness that have been described in this is so perfect and I agree to each and every law as after understanding the laws and experiences from past... Where did you get all these details from which text plz help with info
@bodhivarta3 жыл бұрын
Happy to serve you. My source is the Gurufield. kzbin.info/www/bejne/ep6td5KVpdCAidE
@preetihamilton28523 жыл бұрын
@@bodhivarta thank you 🙏🏽
@scivision3534 жыл бұрын
आपके विश्लेषण से ये प्रतित होता है कि मुल ( स्पंदन ) चित्त और अनुभव कर्ता से भी परे है अगर मै गलत हूं तो कृपया मार्गदर्शन करे
@bodhivarta4 жыл бұрын
दोनों एक हैं। अद्वैत है। अनुभवकर्ता ही नादरूप में या स्पन्दरूप में स्वयं को अनुभव करता है।
@scivision3534 жыл бұрын
@@bodhivarta धन्यवाद गुरुजी !! गुरुजी ये अनुभव होणे के बाद भौतिक जीवन में रुची कम होना स्वाभाविक है, तो संतुलन कैसे बनाए रखे।
@bodhivarta4 жыл бұрын
जो जीवन के लिए आवश्यक है, उसमे रूचि कम नहीं होगी। जो अनावश्यक है , अर्थहीन है , सात्विक नहीं है , उनमे रूचि नहीं रहेगी। चाहे काम हो, सम्बन्धी हों , मनोरंजन हो। यहाँ खालीपन होगा, अधिक समय मिलेगा, उसको रचनात्मक कार्य से, अध्यात्म से, ज्ञान प्रसार से भरने का प्रयत्न करें।
@jitendrasinghshishodia874 Жыл бұрын
💜 🦢 💜
@rajsubhash87653 жыл бұрын
Adha bhara lota kuch jyada avaz karta hai
@bodhivarta3 жыл бұрын
अपना लोटा लेकर कहीं और जाओ भाई । ये चेनल साधकों के लिए है । ऐसी बकवास फिर लिखी तो बैन हो जाओगे । तमीज सीखो।